न तो यहाँ सुकून न ही वहां सुकून कभी पानी की परेशानी कभी अतिवृष्टि की मार तो कभी खाद की समस्या। अब ऐसे में आखिर बेचारा किसान जाते तो जाये कहाँ। तस्वीरें सागर जिले के गौरझामर से सामने आयी है। कोरोना जैसे संकट के समय में ये बड़ी-बड़ी और लंबी लाइनें किसानों की है। जहाँ किसान यूरिया खाद न मिलने से परेशान है। बता दें की इस कड़ाके की ठंड में किसान रात में तीन चार बजे से लाइन में लगे रहते हैं। और कई घंटों के बाद भी उन्हें यूरिया नसीब नहीं हो पाता है। गौरझामर स्थित राज्य सहकारी विपणन संघ मर्यादित भंडार द्वारा किसानों के लिए यूरिया खाद नहीं मिल पाने से किसान खासे परेशान हो रहे हैं। जहां देवरी, केसली,गौरझामर इन सभी जगह के किसान खाद भंडार गोदाम पर पहुंच रहे हैं। ये समस्या इसलिए भी आ रही है। क्योंकि गोदाम हफ्ते में दो-तीन दिन ही खुल रही है। ऐसा नहीं की यहाँ सिर्फ पुरुष हैं बल्कि महिलाएं भी खाद मिलने का इंतजार करती रहती हैं। किसानों का कहना है की लाइन में लगे हैं फिर भी यूरिया नहीं मिल रहा है। वहीँ किसान संघ के जिला अध्यक्ष जितेंद्र जैन ने बताया कि किसानों को पर्याप्त मात्रा में यूरिया नहीं मिल पा रहा है। और यूरिया के लिए अब तो हफ्तों भटकना पड़ रहा है। तब जाकर कुछ खाद की बोरी मिल पा रही है।
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