Sea Police reunited lost innocent children with their families, father eyes filled with tears after seeing the children
सागर गोपालगंज थाना पुलिस ने बाल अपराध शाखा की मदद से राह भटके दो मासूमों को परिजनों से मिलवाया। मासूमों के अचानक गायब होने की खबर मिलने पर परेशान हुए पिता की अपने बच्चों को सकुशल हंसते-खेलते देख आंखें भर आईं, लेकिन बच्चे इतने चंचल थे कि उन्हें इससे मतलब ही नहीं था कि वे घर पर हैं या पुलिस थाने में। दोनों बच्चे पुलिसकर्मियों के साथ मस्ती करते रहे।
सागर शहर में घर से दुकान में बिस्किट लेने निकले मासूम भाई-बहन भटक कर बाजार पहुंच गए। मासूमों के अचानक गायब होने की खबर से परिजन इधर उधर भटकते रहे, लेकिन जब गोपालगंज पुलिस ने बाल अपराध शाखा की मदद से पिता से मिलाया तो अपने बच्चों को सकुशल हंसते-खेलते देख उनकी आंखें भर आईं,
दरअसल बुधवार शाम करीब पांच बजे तीन मढ़िया के पास एक आटो वाले को दो साल और चार साल के बालक-बालिकाएं घूमते हुए मिले, जिसके बाद आटो वाले ने पुलिस को इसकी सूचना दी। गोपालगंज पुलिस दोनों बच्चों को लेकर थाने आ गई। जहां महिला पुलिस कर्मियों ने बच्चों से उनके नाम और पता पूछा, लेकिन बच्चे कुछ नहीं बता पा रहे थे, जिसके बाद पुलिस ने सभी थाना और इंटरनेट मीडिया पर बच्चों की तस्वीरें डालकर लोगों से इनकी जानकारी मांगी।
बच्चों को उनके घर और माता-पिता का नाम पता न बता पाने के बाद पुलिस बच्चों को अपने साथ लेकर सिविल लाइन, भगवानगंज, पीली कोठी सहित शहर के अलग-अलग इलाके की पहचान कराई, लेकिन बच्चे कुछ भी नहीं बता पा रहे थे। गोपालगंज पुलिस से महिला एवं बाल इकाई शाखा प्रधान आरक्षक ज्योति तिवारी के पास बच्चों को सुरक्षित छोड़ा गया।
पुलिस ने बताया कि दोनों बच्चे इतवारी टौरी निवासी नवीन जैन और भारत जैन के थे, दोनों बच्चों की मां ओड़िसा की हैं। जो हिंदी नहीं बोल पाती हैं। शाम के समय दोनों बालक घर से बिस्किट और कुरकुरे, चिप्स लेने के लिए घर से निकले थे। जो घूमते- घूमते कटरा से परकोटा होते हुए सीधे तीन मढ़िया पुरानी डफरिन अस्पताल तक पहुंच गए।