बाबा की मांग मानकर कलेक्टर ने दिल जीत लिया, बाबा ने अपना सालों का शौक छोड़ दिया
नर्मदा पथ की मांग को लेकर संत बाबा भगवा वस्त्रों में सड़क पर ही धरने पर बैठ गए। और जिद पर अड़ गए की कलेक्टर को यहाँ बुलाओ तभी मानेंगे। कुछ देर बाद मौके पर कलेक्टर पहुंचे और बाबा से बात की जिन्हे उनकी मांग पर आश्वासन भी दिया। वहीं इसके बाद कलेक्टर भी उनके हाथ में बीड़ी देख ज़िद पर अड़ गए की आप बीड़ी छोड़ो तो बाबा ने भी बीड़ी छोड़ने की घोषणा कर बीड़ी का बण्डल कलेक्टर को सौंप दिया। हम बात कर रहे हैं। एमपी के डिंडौरी जिले की जहाँ जबलपुर अमरकंटक मार्ग पर जोगी टिकरिया गांव के पुल के नजदीक संत बाबा बसंत गिरी महाराज अचानक धरने पर बैठ गए। उनकी मांग थी कि जोगी टिकरिया से गांव देवरा के बीच माँ नर्मदा पथ पैदल चलने वाले परिक्रम वासियों के लिए बनाया जाए। संत बाबा की धरने पर बैठने की जानकारी जैसे ही पुलिस और प्रशासन को लगी तो हड़कंप मच गया। वे बाबा को मनाने मौके पर पहुँचे। लेकिन वो अड़े रहे कि कलेक्टर डिंडोरी को मौके पर बुलाया जाए। महाराज के धरने की सूचना पर डिंडोरी से कांग्रेस विधायक ओमकार सिंह मरकाम, कांग्रेस नेता वीरेंद्र बिहारी शुक्ला, रमेश राजपाल,रुदेश परस्ते जावेद इकबाल के साथ मौके पर पहुँचे और उनकी मांगों का समर्थन किया। मौके पर अमरपुर नायाब तहसीलदार हिम्मत सिंह भवेदी संत को मनाने मिन्नते करते रहे। करीब 2 घंटे तक बसंत गिरी महाराज बीच सड़क पर बैठे रहे और कई लोग वहां पहुँचने लगे। इसके बाद डिंडोरी कलेक्टर विकास मिश्रा जोगी टिकरिया पुल पहुँचे। बाबा से बात की उस जगह जाकर मौके का मुआयना किया। साथ ही जल्द नर्मदा पथ बनाने का आश्वासन भी दिया। तभी कलेक्टर विकास मिश्रा की नजर उनके हाथों में रखी बीड़ी पर पड़ी, तो कलेक्टर भी उनसे बीड़ी छोड़ने पर अड़ गए आख़िरकार बाबा ने मौके पर बीड़ी छोड़ने की घोषणा की और धरना छोड़ दिया।--------