Sagar-उल्दन बांध में डूब जायेगा किरौला गांव,मुआवजा में भेदभाव के आरोप,ग्रामीणों का प्रर्दशन
सागर की उल्दन बांध परियोजना में कई गांव डूब क्षेत्र में आ रहे हैं खेती और मकान के लिए शासन के द्वारा मुआवजा भी दिया जा रहा लेकिन ग्रामीणों का प्रशासन पर मुआवजा को लेकर भेदभाव करने का आरोप है और इसी को लेकर किरोला गांव के ग्रामीण बंडा तहसील कार्यालय पहुंच गए और धरने पर बैठ गए,
ग्रामीणों का आरोप है कि गांव में करीब 182 मकान है लेकिन अधिकांश मकान सर्वे के दौरान ऐसे बता दिए गए कि यह अस्थाई है, जिसकी वजह से उन्हें मुआवजा नहीं मिल रहा, गांव के कुछ लोग काम करने के लिए बाहर जाते हैं तो अपने घर में ताला डाल देते हैं लेकिन जिन लोगों ने सर्वे किया, उन्होंने उसे अस्थाई घोषित कर दिया.
वहीं यह भी आरोप है कि किसी किसान को एक एकड़ का 3 लाख मुआवजा मिल रहा है तो किसी को 50 डिसमिल का एक लाख दे रहे हैं कच्चे पक्के मकान मैं किसको कैसा मुआवजा मिलना है यह भी पता नहीं है वही गांव में 30 से ज्यादा ऐसे युवा है जो 2004 के अनुसार छः छत्तीस के मुआवजा के दायरे में आते हैं बे कई बार डॉक्यूमेंट जमा कर चुके हैं
इसके बावजूद उनका नाम नहीं जोड़ा जा रहा इन्हीं सब मांग को लेकर ग्रामीण हंगामा कर रहे हैं उनका कहना है कि जब तक उनकी सुनवाई नहीं होगी वह यहीं पर बैठे रहेंगे और कहीं नहीं जाएंगे और जब बात गांव को छोड़ने की आएगी तो जब एक साथ सभी लोगों को एक जैसा मुआवजा दिया जाएगा तभी घर छोड़ेंगे